बारिश के कारण तोक्यो के उत्तर में स्थित एक शहर की एक नदी में बाढ़ आने से फंसे करीब 700 लोग बचावकर्मियों का इंतजार कर रहे हैं और कम से कम 12 लोग लापता हो गए हैं। हवाई फुटेज में बाढ़ के कारण कल कई मकान ढहते दिखाए गए। इन दृश्यों ने वर्ष 2011 में जापान के पूर्वोत्तर तट में आई विनाशकारी सुनामी के मंजर की याद दिला दी।मूसलाधार बारिश के कारण किनुगावा नदी में आई बाढ की चपेट में आए जोसो शहर के लोग मदद की आस में अपने छज्जों पर खड़े होकर तौलिया हिला रहे थे। इस शहर में 65,000 लोग रहते हैं। रिपोर्ट में बताया गया है कि 32 वर्ग किलोमीटर का इलाका और 6500 मकान इस बाढ की चपेट में आ गए।
क्योदो और जीजी प्रेस संवाद समितियों के अनुसार नेशनल पुलिस एजेंसी ने बताया कि स्थानीय समयानुसार रात 11 बजे तक करीब 690 लोग बचावकर्मियों का इंतजार कर रहे थे। प्रांतीय सरकार के हवाले से रिपोर्ट में कहा गया है कि नदी में आई बाढ की चपेट में आने से कम से कम 12 लोग लापता हो गए हैं।
जापान के पश्चिमोत्तर में आई मूसलाधार बारिश के बाद 1,00,000 से अधिक लोगों को अपने घर छोड़कर जाने का आदेश दिया गया है। जापान मौसम विज्ञान एजेंसी ने जोसो और इबाराकी प्रांत के अन्य हिस्सों में बाढ और भूस्खलन की चेतावनी जारी की थी।निकटवर्ती तोचिगी प्रांत में अधिकारियों ने 90,000 से अधिक लोगों को सुरक्षित स्थान पर जाने का आदेश दिया है जबकि अन्य 1,16,000 लोगों को अपने घर छोड़ने की सलाह दी गई है।