राजस्थान के रास्ते नार्को-आतंकवाद को आगे बढ़ा रहा पाकिस्तान

बीएसएफ ने हाल ही में राजस्थान-पाकिस्तान सीमा पर बीकानेर सेक्टर में 56 किलोग्राम प्रतिबंधित पदार्थ जब्त किया था और इस मामले में दो आरोपियों को गिरफ्तार कर किया था। अधिकारियों को इस तस्करी में पाकिस्तानी रैंजर्स की भूमिका का शक है। साथ ही अधिकारियों का मानना है कि पाकिस्तानी पंजाब की तरह ही मॉडल अपना कर इस रेगिस्तानी राज्य को ड्रग हेवन बनाना चाहता है।

दरअसल इस मामले में दो युवकों को गिरफ्तार किया गया है और उनसे पूछताछ के बाद अधिकारियों का मानना है कि पाकिस्तान रैंजर्स की भूमिका संदिग्ध है। कोर्ट में पेश करने के बाद दोनों को रिमांड पर भेज दिया गया है।इस पर बोलते हुए एक वरिष्ठ अधिकारी ने पुष्टि की मामले की जांच एनसीबी द्वारा की जा रही है।

हम फिलहाल यह निश्चित रूप से नहीं कह सकते हैं, लेकिन उस जगह से सिर्फ पचास मीटर की दूरी पर एक पाकिस्तानी चौकी है जहां यह दवा की खेप जब्त की गई थी। यहां चौबीसों घंटे सैनिक तैनात रहते हैं। इससे पता चलता है कि यह रेंजर्स की जानकारी में होना चाहिए।

अन्य अधिकारियों ने पुष्टि की कि डोजियर तैयार किया जा रहा है और यदि आवश्यक हुआ तो इस मामले में शामिल अंतिम व्यक्ति तक पहुंचने के लिए इंटरपोल की मदद भी ली जाएगी।इस बीच मामले की जांच के लिए एनसीबी की टीम मौके पर मौजूद थी।

एनसीबी के उप निदेशक ज्ञानेश्वर सिंह बीएसएफ कार्यालय पहुंचे और दोनों आरोपियों के पास से बरामद साक्ष्य की जांच की। इसके बाद उन्होंने बीएसएफ के डीआईजी पुष्पेंद्र सिंह राठौर के साथ संयुक्त प्रेस कांफ्रेंस बुलाई, जहां दोनों ने कहा कि इस श्रृंखला के अंतिम व्यक्ति तक पहुंचने के लिए सभी प्रयास किए जाएंगे।

एनसीबी के उप निदेशक ज्ञानेवश्वर सिंह ने कहाअफगानिस्तान हेरोइन का सबसे बड़ा उत्पादक है। अफगानिस्तान से ड्रग्स की खेप आम तौर पर पाकिस्तान पहुंचती है और पाकिस्तान से भारत पहुंचती है। उन्होंने कहा कि भारत एक प्रमुख पारगमन बिंदु है, उन्होंने कहा कि अंतर्राष्ट्रीय सीमा (आईबी) के साथ राजस्थान सीमा के पास से इस तरह की खेप की अब तक की सबसे बड़ी बरामदगी इस मामले को संवेदनशील बनाती है।

मामले में दो आरोपितों को गिरफ्तार किया गया है। हम गिरोह का पदार्फाश करने के लिए मुख्य आपूर्तिकर्ताओं और मुख्य रिसीवरों को खोजने के लिए सभी प्रयास कर रहे हैं। चेन में शामिल सभी लोगों को सामने लाया जाएगा। वर्तमान में, हमें लगता है कि इस मामले में लिंक पंजाब से जुड़े हुए हैं।

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