नजीब जंग द्वारा बृहस्पतिवार को अचानक दिए गए इस्तीफे के कारणों को लेकर सस्पेंस अभी खत्म नहीं हुआ है.इसी बीच एक और सस्पेंस बन गया है कि आखिर उपराज्यपाल का इस्तीफा गया कहां? राजनिवास से कहा गया कि उपराज्यपाल ने बृहस्पतिवार शाम चार बजे अपना इस्तीफा राष्ट्रपति को भेज दिया. चौबीस घंटे से अधिक हो चुके हैं, लेकिन जंग का इस्तीफा अभी तक राष्ट्रपति भवन नहीं पहुंचा है.
राष्ट्रपति भवन के सूत्रों का कहना है कि उन्हें इस तरह का कोई पत्र नहीं मिला है. उधर, केंद्रीय गृह मंत्रालय भी उपराज्यपाल का इस्तीफा मिलने की पुष्टि नहीं कर रहा है.इस बीच, शुक्रवार सुबह सबसे पहले मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने राजनिवास जाकर उपराज्यपाल से मुलाकात की. उसके थोड़ी देर बाद ही जंग से मिलने दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया पहुंचे.
अपराह्न 11.30 बजे उपराज्यपाल ने साउथ ब्लॉक पहुंचकर प्रधानमंत्री से मुलाकात की. दोनों नेताओं की यह मुलाकात करीब एक घंटे चली. गौरतलब है कि इस्तीफे के तुरंत बाद बृहस्पतिवार को उपराज्यपाल ने अपने संक्षिप्त बयान में प्रधानमंत्री को उनकी मदद एवं सहयोग के लिए धन्यवाद दिया था.
उपराज्यपाल द्वारा इस्तीफा दिए जाने की खबर को चौबीस घंटे गुजर चुके हैं, लेकिन अब तक यह स्पष्ट नहीं है कि इस्तीफा अभी है कहां? राजनिवास ने शुक्रवार को ‘राष्ट्रीय सहारा’ को बताया कि जंग ने बृहस्पतिवार को शाम चार बजे इस्तीफा राष्ट्रपति को भेज दिया है. उधर राष्ट्रपति भवन का कहना है कि जंग का इस्तीफा अभी तक नहीं मिला है.
गृह मंत्रालय भी इस्तीफा मिलने की पुष्टि नहीं कर रहा है. उधर राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी 31 दिसम्बर तक हैदराबाद के प्रवास पर हैं.उपराज्यपाल नजीब जंग उस समय भी इस्तीफा देना चाहते थे जब केंद्र में संप्रग सरकार चली गई और एनडीए की सरकार सत्ता में आई, लेकिन तब प्रधानमंत्री ने ऐसा करने से रोक दिया था.
तीन वर्ष बाद उन्होंने फिर इस्तीफा देने की कोशिश की थी, लेकिन प्रधानमंत्री ने फिर उन्हें मना लिया था. साढ़े तीन वर्ष बाद मंगलवार को जंग ने प्रधानमंत्री से फिर इस्तीफा देने की पेशकश की. मोदी ने फिर पद पर बने रहने के लिए कहा, लेकिन नजीब जंग इस बार नहीं माने. कहा, पठन-पाठन की दुनिया में लौटना चाहते हैं.
शुक्रवार को सबसे पहले मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल सुबह राजनिवास पहुंचे. उन्होंने जंग के साथ नाश्ता किया. दोनों नेताओं ने अपने खट्ठे-मीठे संबंधों पर बात की. बाद में जब केजरीवाल से पूछा गया तो उन्होंने बताया कि जंग ने निजी कारणों से इस्तीफा दिया है. केजरीवाल के बाद मनीष सिसोदिया ने शिष्टाचार मुलाकात की. सिसोदिया ने बाद में बताया कि हमारे बीच बहुत अच्छी बातचीत हुई.
उपराज्यपाल अपराह्न 11.30 बजे साउथ ब्लॉक जाकर प्रधानमंत्री से मिले. यह शिष्टाचार मुलाकात थी. दोनों नेताओं के बीच हुई एक घंटे की इस शिष्टाचार मुलाकात में क्या बातचीत हुई, इसका खुलासा नहीं हुआ.संविधानिक मामलों के जानकार एसके शर्मा कहते हैं कि उपराज्यपाल राष्ट्रपति के नाम संबोधन के साथ अपना इस्तीफा केंद्रीय गृह मंत्रालय को भेजते हैं. गृह मंत्रालय उस पत्र को राष्ट्रपति के पास भेजता है, जहां से स्वीकृति की मुहर लगने के बाद वापस गृह मंत्रालय के पास वह पत्र आता है. उसके बाद उपराज्यपाल के इस्तीफे की प्रक्रिया पूरी होती है.