भारत में पिछले 24 घंटे में कोविड-19 के 13,451 नए मामले सामने आए, जिसके बाद संक्रमितों की कुल संख्या बढ़कर 3,42,15,653 हो गई। वहीं इलाज करा रहे मरीजों की संख्या घटकर 1,62,661 हो गई है, जो कि पिछले 242 दिनों में सबसे कम है।केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय की ओर से सुबह आठ बजे जारी किए गए अद्यतन आंकड़ों के अनुसार, संक्रमण से 585 और लोगों की मौत के बाद मृतकों की संख्या बढ़कर 4,55,653 हो गई।
देश में लगातार पिछले 33 दिन से कोविड-19 के दैनिक मामले 30,000 से कम आ रहे हैं और पिछले 122 दिन से दैनिक मामले 50,000 से कम हैं।मंत्रालय ने बताया कि देश में कोविड-19 के उपचाराधीन मरीजों की संख्या कुल मामलों का 0.48 प्रतिशत है, जो मार्च, 2020 के बाद से सबसे कम है। वहीं राष्ट्रीय स्तर पर मरीजों के स्वस्थ होने की दर 98.19 फीसदी है, जो मार्च 2020 से सबसे ज्यादा है।
पिछले 24 घंटे में उपचाराधीन मरीजों की संख्या में 1,155 मामलों की कमी हुई।दैनिक संक्रमण दर 1.03 फीसदी दर्ज की गई। पिछले 23 दिनों से यह दो फीसदी से कम है। साप्ताहिक संक्रमण दर 1.22 फीसदी दर्ज की गई। यह भी पिछले 33 दिनों से दो फीसदी से कम है। वहीं संक्रमण के बाद स्वस्थ हो चुके लोगों की संख्या बढ़कर 3,35,97,339 हो गई है, जबकि मृत्यु दर 1.33 फीसदी दर्ज की गई।
देश में अब तक टीके की 103.53 करोड़ से ज्यादा खुराक दी जा चुकी हैं।देश में पिछले साल सात अगस्त को संक्रमितों की संख्या 20 लाख, 23 अगस्त को 30 लाख और पांच सितंबर को 40 लाख से अधिक हो गई थी। वहीं, संक्रमण के कुल मामले 16 सितंबर को 50 लाख, 28 सितंबर को 60 लाख, 11 अक्टूबर को 70 लाख, 29 अक्टूबर को 80 लाख और 20 नवंबर को 90 लाख के पार चले गए थे।
देश में 19 दिसंबर को ये मामले एक करोड़ के पार, इस साल चार मई को दो करोड़ के पार और 23 जून को तीन करोड़ के पार चले गए थे।देश में पिछले 24 घंटे में संक्रमण से 585 लोगों की मौत हुई, जिनमें से 482 मरीजों की मौत केरल और 32 मरीजों की मौत महाराष्ट्र में हुई।
देश में अब तक कुल 4,55,653 मरीजों की मौत हुई है, जिनमें से 1,40,060 लोगों की मौत महाराष्ट्र में, 38,024 लोगों की मौत कर्नाटक में, 36,048 लोगों की मौत तमिलनाडु में, 29,355 लोगों की मौत केरल में, 25,091 लोगों की मौत दिल्ली में, 22,899 लोगों की मौत उत्तर प्रदेश में और 19,081 लोगों की मौत पश्चिम बंगाल में हुई।
मृतकों में से 70 फीसदी मरीज अन्य गंभीर बीमारियों से भी ग्रस्त थे। मंत्रालय ने अपनी वेबसाइट पर बताया, ‘‘हमारे आंकड़ों का मिलान भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद के आंकड़ों से किया जा रहा है।