EVM में गड़बड़ी को लेकर चुनाव आयोग से मिले दिग्विजय और केजरीवाल

भिंड जिले की अटेर सीट के उपचुनाव के लिए ईवीएम की मॉक ड्रिल ट्रायल के दौरान कोई भी बटन दबाने पर कमल की पर्ची निकलने का मुद्दा गर्मा गया है. वहीं, मामले की गंभीरता को देखते हुए चुनाव आयोग ने मीडिया में आईं रिपोर्टों पर जिला निर्वाचन अधिकारियों से विस्तृत रिपोर्ट मांगी है. मुख्य निर्वाचन अधिकारी सलीना सिंह ने मीडिया में छपे इस खबर का खंडन किया है.

जबकि दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने शनिवार को ईसी से मिलकर ईवीएम के मामलों की जांच कराने की मांग की. कांग्रेस और आम आदमी पार्टी (आप) ने वोटिंग मशीन (ईवीएम) में गड़बड़ी को उजागर करने वाले सोशल मीडिया में वायरल हुए वीडियो के आधार पर मतपत्र से चुनाव कराने की मांग की है.

दोनों दलों के नेताओं ने शनिवार को मध्य प्रदेश में ईवीएम के ट्रायल को लेकर वायरल हुए वीडियो के हवाले से वोटिंग मशीनों में गड़बड़ी के अपने दावे को पुख्ता बताया है. कांग्रेस के महासचिव दिग्विजय सिंह की अगुवाई वाले प्रतिनिधिमंडल ने मुख्य चुनाव आयुक्त नसीम जैदी को इस मामले की शिकायत कर वीडियो में दिख रहे अधिकारियों को तत्काल प्रभाव से हटाते हुये मामले की जांच कराने की मांग की है. 

दिल्ली के सीएम अरविन्द केजरीवाल ने शनिवार को चुनाव आयोग से गड़बड़ी वाले इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन (ईवीएम) के मामलों की जांच करने और उसके सॉफ्टवेयर में छेड़छाड़ कर उसे भाजपा के पक्ष में किये जाने की आशंका की जांच का आग्रह किया. केजरीवाल ने मुख्य चुनाव आयुक्त नसीम जैदी से मुलाकात की और देश में एक बार फिर से मत पत्रों के जरिये चुनाव कराये जाने की मांग की.

बैठक के बाद आप के राष्ट्रीय संयोजक ने कहा हम बार-बार दोहराते रहे हैं कि बड़े पैमाने पर ईवीएम के साथ छेड़छाड़ हो रही है. मध्य प्रदेश में कल की घटना ने सबको चकित कर दिया है और चुनावों की निष्पक्षता को लेकर सवाल खड़े हो रहे हैं.पंजाब विधानसभा चुनावों के परिणामों की घोषणा के बाद केजरीवाल ने आशंका जतायी थी कि ईवीएम के साथ छेड़छाड़ की वजह से उनकी पार्टी की हार हुई.

मध्यप्रदेश की मुख्य निर्वाचन अधिकारी सलीना सिंह ने मीडिया में छपे इस खबर का खंडन किया है कि ईवीएम मशीन से जुड़े वोटर वेरिफाइएबल पेपर ऑडिट ट्रेल (वीवीपीएटी) से केवल भाजपा का चुनावी चिन्ह कमल वाली पर्चियां ही शुक्रवार को भिंड में अटेर विधानसभा सीट के उपचुनाव के लिए किये गये डेमो के दौरान निकल रही थीं.

अटेर में नौ अप्रैल को उपचुनाव होना है और यह डेमो के लिए किया जा रहा था.सलीना ने शनिवार को प्रेस कांफ्रेस में बताया इस डेमो के दौरान ईवीएम मशीन में केवल दो ही बटन दबाये गये. पहला मैंने दबाया, जिससे (भाजपा का निशान) कमल का चिन्ह आया और दूसरा वहां मौजूद किसी और व्यक्ति ने दबाया, जिससे (कांग्रेस का निशान) हाथ का पंजा आया.

उन्होंने कहा मध्यप्रदेश की दो सीटों भिंड जिले की अटेर एवं उमरिया जिले की बांधवगढ़ में नौ अप्रैल को उपचुनाव होना है और इनमें ईवीएम मशीनों के साथ वीवीपीएटी पावती वाली रसीद निकलने वाली प्रिंटर मशीनें जुड़ी रहेंगी, जो दोनों सीटों के सभी मतदान केन्द्रों में होंगी. यह मध्यप्रदेश में पहली बार होगा कि पूरे निर्वाचन क्षेत्र में वीवीपीएटी सभी मतदान केन्द्रों में दिखेगा. अटेर संवेदनशील सीट है. उनसे जब पूछा गया कि डेमो के दौरान दो बार कमल का चिन्ह निकला इस पर सलीना ने जोर देकर कहा, ‘दो बार कमल का फूल नहीं आया.

एक बार कमल का चिन्ह और एक बार पंजे का चिन्ह आया. उन्होंने कहा कि डेमो के लिए केवल एक ही मशीन का ही उपयोग किया गया.आयोग के एक प्रवक्ता कहा हमने जिला निर्वाचन अधिकारियों से विस्तृत रिपोर्ट मांगी है और शाम तक हम इस संबंध में कोई जवाब देंगे. वीवीपीएटी एक ऐसी मशीन होती है जिससे निकली पर्ची यह दिखाती है कि मतदाता ने किस पार्टी को वोट दिया है.

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