हजकां पार्टी का कांग्रेस में हुआ विलय

rahul-gandhi-and-kuldeep-bi

हरियाणा जनहित कांग्रेस का कांग्रेस पार्टी में विलय हो गया है। हजकां प्रमुख कुलदीप बिश्नोई ने आज दिल्ली में इसकी घोषणा की। तकरीबन नौ साल के बाद कुलदीप विश्‍नोई की घर वापसी (पुन: कांग्रेस में लौटना) हुई है। हजकां प्रमुख कुलदीप बिश्नोई अपनी वर्किंग कमेटी और पत्नी रेणुका बिश्नोई के साथ आज सुबह 9.30 बजे यूपीए चेयरपर्सन सोनिया गांधी से उनके निवास पर मुलाकात की। इसके बाद 10 बजे विलय की घोषणा कर दी गई। ये विलय बड़े नेताओ की मौजूदगी में हुआ। कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी, कांग्रेस नेता रणदीप सुरजेवाला, कुमारी शैलजा, अशोक तंवर, किरण चौधरी और कांग्रेस के हरियाणा प्रभारी शकील अहमद इस मौके पर मौजूद रहे।

गौर हो कि हरियाणा जनहित कांग्रेस प्रमुख कुलदीप बिश्नोई ने दो दिन पहले ही पार्टी को कांग्रेस में विलय करने की घोषणा की थी। कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी, हरियाणा प्रभारी शकील अहमद के साथ बातचीत के बाद यह तय हो जाएगा कि कुलदीप के साथ कांग्रेस में शामिल होने वाले पदाधिकारियों को क्या तरजीह मिलेगी। हालांकि, कुलदीप के लिए कार्यकर्ताओं को कांग्रेस में पद दिलवाना इतना आसान नहीं होगा, लेकिन कांग्रेस के नेताओं ने इस बाबत विचार-विमर्श करने के बाद तैयारियां पूरी कर ली हैं।

सूत्रों के मुताबिक कुलदीप को यह आश्वासन मिल गया है कि उनके साथ आने वाले कार्यकर्ताओं को हताश नहीं होने दिया जाएगा।रैली की तिथि की घोषणा होते ही हरियाणा में कुलदीप नई जमीन तैयार करने में जुट जाएंगे। हजकां के कार्यकर्ताओं की नजरें कुलदीप को कांग्रेस में मिलने वाली जिम्मेदारी पर टिकी हैं। कांग्रेस में पुराने प्रतिद्वंद्वियों से जूझने में कुलदीप को समय तो लगेगा ही साथ ही अपनी कार्यकुशलता का परिचय भी देना होगा।एचजेसी ने पिछला लोकसभा चुनाव बीजेपी के संग मिलकर लड़ा था।

राजनीतिक जानकारों के अनुसार कांग्रेस ने गैर-जाटों को कांग्रेस से जोड़ने के लिए उठाया है ये कदम। बीते दिनों हरियाणा में जाटों की ओर से की गई हिंसा के बाद कांग्रेस ने सोची-समझी रणनीति के तहत ये फैसला लिया है। साल 2005 के विधानसभा चुनाव के बाद भजनलाल का परिवार कांग्रेस की राजनीति में हाशिये पर चला गया था, जिसके चलते उन्होंने कांग्रेस छोडक़र साल 2007 में हजकां का गठन किया था। अब हरियाणा में कांग्रेस को भी गैर जाट चेहरे की तलाश है और इसलिए पार्टी एचजेसी के साथ विलय को लेकर गंभीरता दिखाई।

Check Also

आरबीआई ने सभी क्रेडिट सूचना कंपनियों को दिया एक आंतरिक लोकपाल नियुक्त करने का निर्देश

आरबीआई ने सभी क्रेडिट सूचना कंपनियों को 1 अप्रैल, 2023 तक एक आंतरिक लोकपाल नियुक्त करने …

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *