कांग्रेस ने मांग की कि उरी आतंकी हमले के मद्देनजर पाकिस्तान को आतंकवादी देश घोषित करने के लिए संसद का विशेष सत्र बुलाया जाए। कांग्रेस ने आरोप लगाया कि हमला होने के बाद नरेंद्र मोदी सरकार ने केवल जुमलों और बयानबाजी से ही जवाब दिया है। पार्टी ने पाकिस्तान का सर्वाधिक तरजीह वाले देश का दर्जा वापस लेने और उस पर आर्थिक पाबंदी लागू करने की वकालत भी की।
पार्टी प्रवक्ता अभिषेक सिंघवी ने सरकार पर इस्लामाबाद को कठघरे में खड़ा करने के लिए न के बराबर काम करने का आरोप लगाते हुए संवाददाताओं से कहा हमारा मानना है कि तीव्र परिस्थिति में तीव्र फैसले होने चाहिए। अब तक पाकिस्तान को आतंकवादी देश घोषित कर देना चाहिए था। वे इसमें भी विफल रहे।उन्होंने कहा हम पाकिस्तान पर लगभग पूरी तरह आर्थिक प्रतिबंध लगाने की मांग करते हैं।
हमारे सुरक्षा हालात पर चर्चा करने और पाकिस्तान को आतंकवादी देश घोषित करने के लिए संसद का विशेष सत्र बुलाना चाहिए।सिंघवी ने कहा कि सरकार ने केवल जुमलों और बयानबाजी करके जवाब दिया है और कोझिकोड में प्रधानमंत्री का भाषण रणनीतिक अस्पष्टता प्रदर्शित करता है। भारत कमजोर दिखाई दे रहा है और पाकिस्तान को ठोस जवाब नहीं दे सका है।उन्होंने सरकार पर निशाना साधते हुए कहा हम नहीं चाहते कि रणनीतिक संशय पैदा हो, भारत हास्य का पात्र बने।
दुनिया यह नहीं सोच ले कि भारत की राजनीतिक रणनीति उद्देश्यविहीन है। उद्देश्यविहीन राजनीतिक रणनीति रणनीतिक संयम का पर्याय नहीं होती। सिंघवी ने कहा भारत की जनता पाकिस्तान के कुकृत्यों के खिलाफ ठोस कार्रवाई चाहती है। सिंघवी के मुताबिक उरी और पठानकोट दोनों जगह आतंकी हमलों में जितने लोग मारे गये हैं, उतने पिछले 20-22 साल में नहीं मारे गये।
उन्होंने कहा हम दिल्ली में पाकिस्तान के उच्चायोग के स्तर को काफी कम करने की मांग करते हैं। उन्होंने पूछा कि बलूच नेता ब्रह्मदाग बुगती के शरण के अनुरोध पर विचार करने और उसे अंतिम रूप देने में देरी क्यों हो रही है। रक्षा मंत्री मनोहर पर्रिकर और राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल पर परोक्ष हमले में सिंघवी ने कहा सुरक्षा के लिए जिम्मेदार लोगों के संदर्भ में सर्वोच्च पदों पर बैठे लोगों की राजनीतिक और प्रशासनिक जवाबदेही भी तय करनी होगी।