कर्नाटक में जेडीएस-कांग्रेस गठबंधन टूटने के कयास लगाए जा रहे थे। इस बीच कर्नाटक भाजपा प्रमुख और पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा है कि हम (भाजपा) राज्य में जेडीएस के साथ मिलकर सरकार बनाने नहीं जा रहे। हम चाहते हैं कि फिर से चुनाव हों।
येदियुरप्पा ने साफ किया कि जेडीएस की मदद से सरकार बनाना असंभव है। एचडी कुमारस्वामी की अगुआई में 20-20 डील के तहत शासन चलाने का अनुभव काफी खराब रहा था। मैं दोबारा ऐसी गलती नहीं करना चाहता। 2007 में भाजपा और जेडीएस में 20-20 महीने सत्ता चलाने के लिए समझौता हुआ था।
तब 20 महीने सरकार चलाने के बाद कुमारस्वामी ने पद से हटने से मना कर दिया था। इसके बाद भाजपा सरकार से समर्थन वापस ले लिया था।येदियुरप्पा ने कहा- हम नए विधानसभा चुनाव के लिए तैयार हैं। पार्टी के पास कोई दूसरा विकल्प नहीं है।
लोकसभा चुनाव में 26 सीट हारने के बाद जेडीएस-कांग्रेस गठबंधन जनता का भरोसा खो चुका है। अगर इसके बाद भी गठबंधन सरकार चलती रहती है तो यह लोगों के मत के खिलाफ होगा।येदियुरप्पा ने यह भी आरोप लगाया कि गठबंधन के दोनों धड़े (कांग्रेस और जेडीएस) जनता की समस्याएं सुलझाने की बजाय सत्ता में बने रहने की कवायद में ही जुटे हुए हैं।
एक जून को होनी वाली बैठक में आगे की रणनीति तय की जाएगी।यह पूछे जाने पर कि क्या भाजपा सुमनलता अंबरीश का स्वागत करेगी, इस पर येदियुरप्पा ने कहा- अगर वे पार्टी में शामिल होना चाहें तो उनका स्वागत है।
लोकसभा चुनाव में निर्दलीय उम्मीदवार सुमनलता ने मांड्या सीट से जेडीएस उम्मीदवार और कुमारस्वामी के बेटे निखिल को हराया था। जेडीएस प्रमुख और पूर्व प्रधानमंत्री एचडी देवेगौड़ा भी तुमकुर सीट से हार गए थे।