केंद्रीय स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री मनसुख मांडविया ने राज्यसभा में कहा कि 15 साल तक बच्चों के टीकाकरण के बारे में सरकार विशेषज्ञ समूह के सुझावों के आधार पर फैसला करेगी।राज्यसभा में प्रश्न काल के दौरान मांडविया ने पूरक सवालों के जवाब में यह टिप्पणी की।
इससे पहले सदस्यों ने देश के विभिन्न हिस्सों में स्कूलों के फिर से खुलने से बच्चों की सुरक्षा को लेकर पैदा खतरों को लेकर चिंता जताई।स्वास्थ्य मंत्री मांडविया ने कहा कि सरकार ने इस संबंध में सुझाव देने के लिए विशेषज्ञों का एक समूह गठित किया है कि किस आयु वर्ग को पहले कोविड टीका दिया जाए।
उन्होंने कहा कि अभी 15 से 18 साल तक के आयु वर्ग के लिए टीकाकरण चल रहा है।उन्होंने कहा कि 15-18 वर्ष के आयु वर्ग में अब तक 67 प्रतिशत टीकाकरण किया जा चुका है। टीकाकरण अभियान तेजी से चल रहा है और भविष्य का निर्णय विशेषज्ञ समूह के सुझाव के आधार पर लिया जाएगा।
उन्होंने कहा कि विशेषज्ञ समूह नियमित रूप से बैठकें करता है और अपने सुझाव देता है जिसके आधार पर सरकार कार्रवाई करती है।मांडविया ने कहा कि भारत में 97.5 प्रतिशत पात्र लाभार्थियों को टीके की पहली खुराक मिल गई है और उनमें से 77 प्रतिशत लोगों को दूसरी खुराक लग गई है।
उन्होंने कहा कि विकसित देशों में 90 प्रतिशत से अधिक लोगों को पहली खुराक नहीं लगी है। लेकिन भारत ने किया है।उन्होंने कहा कि भारत कोविड संकट से बेहतर तरीके से निपट रहा है। मांडविया ने कहा कि भारत टीकाकरण के कारण कोविड-19 महामारी की तीसरी लहर से निपटने में सक्षम हो सका है।