उदयपुर में 6 महीने के बच्चे की खरीद फरोख्त में शामिल पिता, मामा, दलाल एवं खरीददार समेत छह जनों को थाना कोटडा पुलिस ने गिरफ्तार किया है। बच्चों के पिता ने गरीबी से तंग आकर अपने 6 माह के बच्चे को बेचने के लिए बच्चे के मामा को दिया। जिसने दलाल के मार्फ़त गुजरात के एक निसंतान दंपत्ति को 1.60 लाख में बच्चे का सौदा कर दिया।
पुलिस ने गुजरात के खेड़ा ब्रह्मा से बच्चे को दस्तयाब कर उसकी मां को सौंप दिया है।उदयपुर एसपी मनोज कुमार ने बताया कि कोटडागड़ी गुजरात निवासी तारी बेन उर्फ पारी बेन पत्नी सेजु भाई ने उनके कार्यालय में एक रिपोर्ट दी। जिसमें बताया कि आज से करीब 2 महीने पहले वह अपने पिहर गांव सड़ा थाना कोटड़ा गई थी। बीमारी की वजह से वह दिन में सो रही थी।
उसके पास 6 महीने के बच्चे को उसका भाई चंदू कहीं ले गया, जो उसे आज तक नहीं मिला। उसके भाई ने उसके बच्चे को कहीं बेच दिया है। रिपोर्ट पर मुकदमा दर्ज कर अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक कुंदन कंवरिया व सीओ कुशाल राम चौरडिया के सुपरविजन एवं थानाधिकारी कोटडा पवन सिंह के नेतृत्व में टीम गठित की गई।गठित टीम ने रिपोर्ट के 36 घंटों के अंदर बच्चे के मामा चंदू को डिटेन कर पूछताछ की तो पूरे मामले का खुलासा हुआ और 6 जनों को गिरफ्तार कर बच्चे को खेड़ा ब्रह्मा गुजरात से दस्तयाब किया गया।
पुलिस ने बच्चे के पिता सेजू भाई पुत्र कीरा भाई निवासी कोटडा गड़ी जिला साबरकांठा गुजरात, मामा चंदू पुत्र लाडू निवासी सड़ा थाना कोटडा, दलाल सुरेश पुत्र नूरिया निवासी पहाड़ी थाना कोटडा व अमृत भाई पुत्र वादिरा भाई निवासी खेरोज जिला साबरकांठा एवं बच्चे के खरीददार विजय दवे पुत्र कांतिलाल निवासी कल्याणपुरा बाड़मेर हाल बनाड़ वाड़ा जिला जोधपुर को गिरफ्तार कर कोर्ट में पेश कर रिमांड पर लिया है।
मुख्य अभियुक्त सेजू भाई के 6 बच्चे होने के कारण वह पालन पोषण नहीं कर पा रहा था। उसने अपने साले चंदू पारगी को अपने सबसे छोटे 6 महीने के बच्चे को बेचने के लिए पार्टी ढूंढने के लिए कहा। चंदू ने अपने परिचित सुरेश से संपर्क किया। जिसने अपने परिचित नंदा से संपर्क किया। नंदा ने गुजरात निवासी अमृत भाई को बच्चे के बारे में बताया।
अमृत भाई गुजरात के खेड़ा ब्रह्मा में धन वर्षा सोसाइटी में काम करता था। सोसायटी में रहने वाली अमीबेन ने अमृत को कुछ समय पहले बताया था कि उसकी रिश्तेदारी में भाई विजय दवे को बच्चे नहीं हो रहे ओर वह बच्चा को गोद लेना चाह रहा है। इस पर अमृत भाई ने विजय दवे को अंबाजी बुलाकर 1.60 लाख में बच्चे को बेच दिया।