भारतीय जनता पार्टी ने किया कर्नाटक कार्यकारिणी में बदलाव

बीजेपी ने बीएस येदियुरप्पा और सीनियर नेता के एस ईश्वरप्पा के कुछ करीबी पदाधिकारियों को हटा दिया है। कर्नाटक में अगले साल विधानसभा चुनाव होने हैं। इससे केंद्रीय नेतृत्व नेताओं को यह मैसेज देना चाहता है कि आपस में लड़ाई बंद करके साथ मिलकर काम किया जाए।

पार्टी में फैली अशांति के बीच बीजेपी ने महासचिव पी मुरलीधर को पार्टी को तोड़ने की धमकी दे रहे दोनों पक्षों से बात करने के लिए चुना था। दोनों पक्षों से बात करने के बाद राव ने राज्य के प्रदेश उपाध्यक्ष भानुप्रकाश और निर्मल कुमार सुराना को बर्खास्त कर दिया। इसके साथ ही रायथा मोर्चा के उपाध्यक्ष एमपी रेणुकाचार्य और प्रवक्ता जी मधुसुधन को भी हटाया गया।

बीएस येदियुरप्पा और ईश्वरप्पा पक्ष के बीच मतभेद चल रहा है। येदियुरप्पा ने नेशनल ज्वॉइन सेक्रेटरी बी एल संतोष पर निशाना साधा था। येदियुरप्पा ने कहा था कि संतोष पार्टी विरोधी कामों में लिप्त थे। इससे पहले ईश्वरप्पा के खेमे ने कहा था येदियुरप्पा के काम करने के तरीके से पार्टी पर प्रभाव पड़ रहा है।

भानुप्रकाश और निर्मल कुमार सुराना ईश्वरप्पा की तरफ हैं। वहीं रेणुकाचार्य और प्रवक्ता जी मधुसुधन येदियुरप्पा के खेमे के हैं।बीजेपी ने 2008 से 2013 तक कर्नाटक में शासन किया। तब पहली बार उसकी सरकार बनी थी। उस वक्त में राज्य ने कुल तीन मुख्यमंत्री देखे। लगे भ्रष्टाचार के आरोपों के बाद कांग्रेस फिर से सत्ता में आ गई थी।

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